हरिद्वार।
मुख्य विकास अधिकारी आकांक्षा कोण्डे द्वारा सभी विकासखण्डों को निर्देशित किया गया हैं कि कांवड$ मेला क्षेत्र में और आस—पास स्वयं सहायता समूहों की स्टाल लगवाई जाये जिससे महिलाएं खाद्य सामग्री, हस्तशिल्प वस्तुओं आदि की ब्रिकी कर अपनी आय बढ़ा सकें।

मुख्य विकास अधिकारी ने स्वयं सहायता समूह सदस्यों एवं सहकारिता सदस्यों द्वारा तैयार उत्पादों को स्टाल लगाकर ब्रिकी करने के निर्देश दिये है। बताया कि विभिन्न विभागों से समन्वय और अनुमति प्राप्त करने हेतु सहायक परियोजना निदेशक, जिला मिशन प्रबन्धक को नोडल अधिकारी बनाया गया हैं। और प्रतिदिन सेल का रिकॉर्ड व्यवस्थित करवाने के लिए कहा गया है। जनपद में वर्तमान में कांवड$ मेला क्षेत्र में विभिन्न स्थानों पर 18 सीएलएफ के स्वयं सहायता समूहों / सहकारिता सदस्यों द्वारा 6 से भी अधिक स्थानों पर पानी, चाय, नाश्ता, जूस, भोजन, फल, बेकरी उत्पाद कांवड आदि से संम्बधित स्टाल लगाये गये हैं। इनमें प्रतिदिन होने वाली बिक्री का रिकार्ड रखा जा रहा है। 2१ जुलाई तक इन स्टालों में 1 लाख से लगभग 4 लाख के बीच तक दैनिक बिक्री रिकॉर्ड दर्ज किया गया है। कांवड$ मेला अवधि में अब तक इन स्टालों के माध्यम से कुल लगभग 28 लाख की बिक्री कर ली गई है।

बताया कि वर्तमान में चार धाम यात्रा भी चल रही है। अत: इसे देखते हुए स्वयं सहायता समूहों / सहकारिता सदस्यों द्वारा लगाई गई स्टालों को अभी आगे भी जारी रखे जाने पर विचार किया गया है। जिससे चारधाम यात्रा सीजन में उनको अधिक से अधिक आय सृजन करने का अवसर प्राप्त हो सके।
उल्लेखनीय है कि भारत सरकार और राज्य सरकार द्वारा चलाई जा रही ‘‘लखपति दीदी‘‘ योजना का मुख्य उद्देश्य स्वयं सहायता समूहों की महिलाओं को आजीविका संवर्धन के अवसर उपलब्ध कराते हुए उनकी आय को कम से कम 1 लाख रूपये करना है। इसलिए यह आवश्यक है कि उन्हें आय सृजन के अवसर सुलभ कराये जाये। कांवड मेला के दौरान स्वयं सहायता समूह की महिलाआें को अपने उत्पादों की बिक्री कर आय सृजन का जो सुनहरा अवसर प्राप्त हो रहा है उससे वह बहुत उत्साहित हैं।















































